औ हंसा निकल गया रे काया से,
Hansa nikal gaya kaya se khali padi rave tasvir , Hansala Rajasthani bhajan Lyrics
Album: hansala
bhajan
Singer :- Sayar
Lal Ji,
Support :-
Vishnudas Ji
Rhythm :-
Mukesh Ustad Ajmer
Lable:
Rajasthani bhajan
।। दोहा ।।
बुरा जो देखन मैं चला, बुरा न मिलिया कोय,
जो दिल खोजा आपना, मुझसे बुरा न कोय।
पोथी पढ़ि पढ़ि जग मुआ, पंडित भया न कोय,
ढाई आखर प्रेम का, पढ़े सो पंडित होय।
औ हंसा निकल गया रे काया से
औ हंसा निकल गया रे काया से खली पड़ी रेवे तस्वीर -२
पड़ी रेवे तस्वीर खली पड़ी रेवे तस्वीर | औ हंसा...
कोई मनाया देवी देवता कोई पूज्या पीर -२
आया पर्वा ना उसी घर का , अब जाना पड़ा आखिर ।। हंसा...
कोई रोवे कोई मल मल धोवे ,कोई ओढावे चिर -२
चार जाना मिल मुर्दो उठायो ले गया जमाना तीर ।। हंसा...
यम का दूत लवण ने आवे मनड़ो करे नहीं धीर -२
मार -मार के प्राण नीकालिया जद नैना में छलके नीर ।। हंसा...
माल मूलक की कोड चलाई ,संग नहीं जावे शरीर -२
जाय जंगल में जीता चुनाई कह गया दास कबीर ।। हंसा...
औ हंसा निकल गया रे काया से खली पड़ी रेवे तस्वीर ,
पड़ी रेवे तस्वीर खली पड़ी रेवे तस्वीर ।।
Hansa nikal gaya kaya se Hindi lyrics
o hansa nikal gaya re kaaya se khalee padee reve tasveer -2
padee reve tasveer khalee padee reve tasveer || hansa...
koee manaaya devee devata koee poojya peer -2
aaya parva na usee ghar ka , ab jaana pada aakhir.|| hansa...,
koee rove koee mal mal dhove ,koee odhaave chir -2
chaar jaana mil murdo uthaayo le gaya jamaana teer || hansa...
yam ka doot lavan ne aave manado kare nahin dheer -2
maar -maar ke praan neekaaliya jad naina mein chhalake neer || hansa...
maal moolak kee kod chalaee ,sang nahin jaave shareer -2
jaay jangal mein jeeta chunaee kah gaya daas kabeer || hansa...
au hansa nikal gaya re kaaya se khalee padee reve tasveer ,
padee reve tasveer khalee padee reve tasveer
Hansa nikal gaya kaya se khali padi rave tasvir , Hansala Rajasthani bhajan Lyrics,
औ हंसा निकल गया रे काया से
औ हंसा निकल गया रे काया से खली पड़ी रेवे तस्वीर -२ पड़ी रेवे तस्वीर खली पड़ी रेवे तस्वीर | औ हंसा...
कोई मनाया देवी देवता कोई पूज्या पीर -२ आया पर्वा ना उसी घर का , अब जाना पड़ा आखिर ।। हंसा...
कोई रोवे कोई मल मल धोवे ,कोई ओढावे चिर -२ चार जाना मिल मुर्दो उठायो ले गया जमाना तीर ।। हंसा...
यम का दूत लवण ने आवे मनड़ो करे नहीं धीर -२ मार -मार के प्राण नीकालिया जद नैना में छलके नीर ।। हंसा...
माल मूलक की कोड चलाई ,संग नहीं जावे शरीर -२ जाय जंगल में जीता चुनाई कह गया दास कबीर ।। हंसा...
औ हंसा निकल गया रे काया से खली पड़ी रेवे तस्वीर ,पड़ी रेवे तस्वीर खली पड़ी रेवे तस्वीर ।।
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